दुर्घटना

नैनीताल में 1880 की आपदा के 151 मृतको को ऑल सेंट्स कॉलेज द्वारा दी गयी श्रद्धांजलि

नैनीताल। ऑल सेंट्स कॉलेज द्वारा हर वर्ष की भांति इस वर्ष भी प्रधानाचार्य किरन जरमाया के दिशा निर्देशन में 1880 की प्राकृतिक आपदा में मृत लोगों की याद में सेंट जोन्स चर्च में प्रार्थना सभा आयोजित की गई।आगे पढ़ें

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बता दे कि सरोवर नगरी के इतिहास में 18 सितंबर 1880 के नाम बहुत ही भयावह घटना दर्ज है। आज ही के दिन 143 वर्ष पूर्व नैनीताल में स्थित अल्मा की पहाड़ियों में वह विनाशकारी भूस्खलन हुआ था जिसे लगभग 151 लोगों को चिरनिद्रा में विलीन कर दिया था।इस प्रलन्यकारी आपदा में जान गवाने वाले लोगों की आत्मा की शांति के लिए और भविष्य में नैनीताल को इस प्रकार की प्राकृतिक विपत्ति से दूर रखने के लिए ही नगर के सुप्रसिद्ध विद्यालय ऑल सेंट्स कॉलेज द्वारा सेंट जॉन्स इन द विल्डर्नेस गिरजाघर में प्रार्थना सभा आयोजित की गई। इबादत की शुरुआत में सभी लोगों ने ईश्वर द्वारा पूर्व काल में किए गए उपकारों के लिए और भविष्य में भी सभी मनुष्यों के मन में आशा का संचार करने के लिए उनकी स्तुति में ‘ओ गॉड अवर हेल्प इन एजेस पास्ट’ भजन गाया।आगे पढ़ें

सभा में ऑल सेंट्स कॉलेज की छात्राओं ने ईश्वर की स्तुति करते हुए ‘टू द हिल्स आई राइज माइन आईज’ भजन गाकर सभा में अनमोल रस घोल दिया और हर एक श्रोता के हृदय में संवेदना भर दी। इसके साथ ही भवाली के वुडब्रिज स्कूल नैनीताल के सेंट जॉन्स स्कूल, सेंट मैरिज कॉलेज, बिशप शॉ स्कूल, सनवाल स्कूल व सेंट जोसेफ कॉलेज के छात्र-छात्राओं ने भी प्रभु के असंख्य उपकारों के लिए उनको धन्यवाद देते हुए गीत गाए।पोस्टर मार्क वाल्श ने पवित्र ग्रंथ बाइबिल से आशीर्वचन पढ़े व ईश्वर से नगर की उन्नति के लिए याचना की। साथ ही उन्होंने 1880 की आपदा में जान गवाने वाले लोगों की आत्मा की शांति के लिए भी प्रार्थना की।इसके अलावा डॉ जेवियर ने भी प्रार्थना की। उन्होंने अपनी प्रार्थना में इसी वर्ष उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश में घटित प्रार्कृतिक त्रासदियों में मृत लोगों को भी याद किया।आगे पढ़ें

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कुमारी शेफाली आईजैक ने पवित्र ग्रंथ बाइबिल की भजन संहिता से अध्याय 90 पढ़कर परमपिता के अनादि काल से अनंत काल तक सर्वज्ञ होने पर प्रकाश डाला। वहीं श्रीमती इमानुएल ने बाइबिल से कुरिंथियों का अध्याय पढ़ पुनरुत्थान के साथ मोक्ष देने वाले ईश्वर को धन्यवाद दिया।ऑल सेंट्स कॉलेज की प्रधानाचार्य श्रीमती किरन जरमाया ने मध्यस्थता दुआएं पढ़ी व देश, राज्य और नगर के उद्धार के साथ-साथ सभी देशवासियों की उन्नति वह मंगल भविष्य के लिए प्रार्थना की।वुड ब्रिज स्कूल के निर्देशक श्री विनय कर ने 1880 की इस खौफनाक आपदा का अत्यंत ही दुखद वृतांत सुनाया और सभी को भावुक कर दिया। साथ ही उन्होंने सभी से भविष्य में इस तरह की त्रासदी से बचने के लिए अभी से ठोस कदम उठाते हुए प्रकृति का संरक्षण करने का आह्वान किया।आगे पढ़ें

अंत में सेंट मैरिज कॉलेज की प्रधानाचार्या सिस्टर मंजूषा ने सभी की  खुशहाली के लिए प्रार्थना की। इसके बाद डॉक्टर पीटर इमैनुएल ने सभा में उपस्थित सभी को धन्यवाद ज्ञापित कर कार्यक्रम का समापन किया। इस दौरान ऑल सेंट्स कॉलेज के साथ नगर के सेंट जोसेफ कॉलेज, सेंट मैरीज़ कॉलेज, बिशप शॉ स्कूल, सनवाल स्कूल, सेंट जॉन्स स्कूल और भवाली के वुडब्रिज स्कूल के बच्चे व प्रधानाचार्य, गीता साह आलोक साह व शहर के अन्य गणमान व्यक्ति उपस्थित रहे।

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