नैनीताल। मंगलवार को सूर्यग्रहण सूर्य के पूर्वी किनारे से ग्रहण लगना शुरू हुआ और इसके बाद चंद्रमा की छाया सूर्य पर चढ़ती चली गई। सवा पांच बजे सूर्य का करीब का करीब सूर्य का 55 फीसद भाग ग्रहण की चपेट में आ गया। इस बीच मौसम साफ था तो ग्रहण लगे सूर्य का नजारा बेहद सुंदर हो चला था। ग्रहण देखने के लिए विभिन्न शहरों से सैलानी हनुमानगढ़ी के सनसेट प्वाइंट में पहुंचे हुए थे। साथ ही स्थानीय लोग ऊंची चोटियों पर पहुंचे हुए थे और ग्रहण की अद्भुत खगोलीय घटना का लुत्फ उठाया। आर्यभट्ट प्रेक्षण विज्ञान शोध संस्थान एरीज में दूरबीनों के मूंह खोल दिए थे। पर्यटकों समेत स्कूली बच्चे एरीज पहुंचे हुए थे। वरिष्ठ सौर विज्ञानी व निदेशक प्रो दीपांकर बनर्जी ने बताया कि शाम के समय का ग्रहण आश्चर्यजनक था। ठीक 4.29 बजे सूर्यग्रहण शुरू हुआ और शाम ढलने तक सूर्य ग्रहण की चपेट में रहा। इस घटना को देखने के लिए सैकड़ों लोग एरीज पहुंचे थे। एरीज में 6 व 14 इंच की दूरबीन से ग्रहण का नजारा दिखाया गया।दूरबीन से ग्रहण का नजारा देखा गया। सूर्यास्त के दौरान ग्रहण लगा सूर्य अस्त हुआ। यह नजारा भी बेहद गजब का था।
वरिष्ठ सौर विज्ञानी व पूर्व कार्यवाहक निदेशक डा वहाबउद्दीन ने बताया कि सूर्यग्रहण भारत के पूर्वी भारत में ग्रहण 4.52 बजे शुरू हुआ। दक्षिण भारत में सांय 5.14 जबकि पश्चिम भारत में शाम 4.38 व दक्षिणी भारत में शाम 5.14 बजे से ग्रहण शुरू हुआ। दुनिया के अन्य हिस्सों में आंशिक सूर्यग्रहण भारतीय समय के अनुसार दोपहर 2.28 बजे शुरू हुआ, जो शाम 6.32 तक देखा जा सका। यूरोप, उत्तरी अफ्रीका, मिडलीस्ट व एशिया के पश्चिमी हिस्सों में ग्रहण देखा गया।