कुमाऊँ

प्रतिस्पर्धा के दौर में आज भी राजकीय इंटर कॉलेज पदमपुरी में बना हुआ है अभिवावकों का भरोसा,अधिवक्ता,कृषि वैज्ञानिक,फैशन डिजाइनर बनना है छात्राओं का सपना

नैनीताल/धारी।सरकारी स्कूलों शिक्षको व अन्य सुविधाओं के आभाव में एक और स्कूलों से छात्रों की संख्या कम होती जा रही है वही धारी ब्लॉक के पदमपुरी स्थित संत सोमवारी महाराज राजकीय इंटर कॉलेज पदमपुरी में आज भी छात्रों की संख्या दौ सौ से अधिक है।जो कि अन्य स्कूलों के लिए एक नजीर पेश कर रहा है।यहां पर अकसोड़ा, पदमपुरी,सरना,पन्याली आदि कई गांव से बच्चे शिक्षा ग्रहण करने के लिए आ रहे है।स्कूल में सभी विषय पढ़ाने के लिए लगभग सभी शिक्षक भी मौजूद है।और विद्यालय का परीक्षा परिणम भी काफी अच्छा रहता है। आज जब सभी लोगो निजी स्कूलों में अपने बच्चो का भविष्य सुरक्षित महसूस कर रहे है।वही क्षेत्र के लोगो को इस विद्यालय व शिक्षको पर भरोसा बना हुआ है।आगे पढ़ें…..

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अधिवक्ता,कृषि वैज्ञानिक,फैशन डिजाइनर व नीट किलियर करना है छात्राओं का सपना…..संत सोमवारी महाराज राजकीय इंटर कॉलेज में पड़ने वाली छात्राओं के भी हौसले बुलंद है।और सुनहरे भविष्य के सपने संजोए छात्राएं कोई फैशन डिजाइनर,अधिवक्ता,अध्यापिका कृषि वैज्ञानिक तो कोई नीट किलयर कर अपना भविष्य बनाना चाह रही है।12वीं में पढ़ने वाली सभी 36 छात्राओं के हौसले ऊंची उड़ान भरने को तैयार है।और अधिकांश छात्राएं 12वीं के बाद डिग्री कॉलेज जाने के बजाय फ्रोफेशनल कोर्सेज करना पसंद कर रही है।लगभग सभी ने किस क्षेत्र में अपना भविष्य बनाना है यह सुनिश्चित कर लिया है।आगे पढ़ें

अकसोड़ा निवासी काश्तकार परिवार से ताल्लुक रखने वाली व हर रोज चार किमी पैदल सफर तय कर स्कूल पहूंचने वाली 12वीं की छात्रा चेतना ढेला अध्यापिका बनकर ग्रामीणों क्षेत्रों के बच्चो को पढ़ाकर उनका भविष्य बनाने का सपना संजोए हुए है।
कनर्खा निवासी काश्तकार महेंद्र कुमार की पुत्री 12वीं की छात्रा दीपा आर्या हर रोज दो किमी का पैदल सफर तय करने के बाद स्कूल पहुंचती है।12वीं के बाद फैशन डिजाइनर बनने का सपना लिए दीपा कड़ी महेनत कर रही है।
सरना निवासी वाहन चालक की बेटी 12वीं की छात्रा हर रोज तीन किमी पैदल सफर तय कर स्कूल पहूंचने वाली भावना आर्या का कहना है कि 12वीं के बाद उनको बीए करना है और उसके बाद वकालत की पढ़ाई कर अधिवक्ता बनकर लोगो की सेवा करनी है।और इसके लिए वे कड़ी मेहनत भी कर रही है।
लदफोड़ा निवासी काश्तकार नारायण सिंह बिष्ट की पुत्री 12वीं की छात्रा दीक्षा बिष्ट डॉक्टर बनने का सपना लिए हर रोज करीब दो किमी पैदल सफर तय कर स्कूल पहुंचती है।पढ़ाई के लिए स्कूल में शिक्षको का काफी सहयोग मिलता है।12वीं के बाद नीट की तैयारी करनी है।और मेडिकल की पढ़ाई कर डॉक्टर बनकर ग्रामीणों क्षेत्रो में बदहाल हो चुकी स्वास्थ्य व्यवस्था में सुधार लाकर असहाय लोगो की मदद करना उनके जीवन का मकसद है।
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